मीटिंग के बाद एक युवती होटल से बाहर आई। उसने अपनी कार की चाभियाँ तलाशीं लेकिन उसे नहीं मिली। वापस मीटिंग रूम में जाकर देखा, वहाँ भी नहीं थीं।
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अचानक उसे लगा कि, चाभियाँ शायद वो कार के इग्नीशन में ही लगी छोड़ आई थी। उसके पति बहुत बार उसकी इस आदत के लिए डाँट चुके थे।
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खैर,
जब युवती पार्किंग में पहुँची तो उसे समझ आया कि उसके पति सही टोकते थे। पार्किंग खाली थी, कार चोरी हो चुकी थी।
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युवती ने तुरंत पुलिस को कॉल किया, अपनी लोकेशन और पार्किंग एड्रेस बताया और कार चोरी की पूरी जानकारी दी।
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फिर युवती ने अपने पति को डरते-डरते काल लगाईं और बोली---" डार्लिंग ( ऐंसे समय वो उन्हें डार्लिंग कहकर ही बुलाती थी) मैं अपनी कार की चाबियाँ इग्नीशन में भूल गई और हमारी कार चोरी हो गई।"
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फोन पर थोड़ी देर शान्ति रही। उसे लगा उसके पति गुस्से में फोन काट देंगे। लेकिन फिर पति की गुस्से में चिल्लाने की आवाज आई-- "बेवकूफ, मैं खुद तुम्हे मीटिंग अटेंड करने के लिए होटल छोड़कर आया था !"
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अब शांत रहने की बारी युवती की थी। वो खुश हो गई थी कि, चलो कार चोरी तो नहीं हुई। फिर उसने कहा ---
"ओके, तो फिर प्लीज, मुझे लेने के लिए आ जाओ।"
-- पति फिर चिल्लाए--
"नानसेंस ... मैं तुम्हें लेने के लिए आ जाऊँगा, लेकिन पहले इस पुलिस वाले को तो बताओ कि मैंने तुम्हारी कार नहीं चुराई है, जिसने मुझे पकड़ रखा है...."
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